December 20, 2021

डिजिटल विभाजन को समाप्त करने को प्रयासरत: झांसी मंडल के 105 स्टेशनों पर नि:शुल्क वाई-फाई सुविधा

रेलवे की इस पहल ने रेलवे स्टेशनों पर आम रेलयात्री को डिजिटल प्रौद्योगिकी के लाभ प्राप्त करने का मार्ग प्रशस्त किया है। इसके माध्यम से वहां भी डिजिटल इंडिया का सपना साकार हो रहा है, जहां इसकी वास्तविक आवश्यकता है!

मंडल रेल प्रबंधक, झांसी आशुतोष के दिशानिर्देशन में मंडल के सभी रेलवे स्टेशनों का आधुनिकीकरण तथा यात्री सुविधाओं के अपग्रेडेशन हेतु निरंतर प्रयासरत है। भारतीय रेल डिजिटल इंडिया के सपने को साकार करने के लिए डिजिटल प्रयासों को लागू करने मे सदैव से अग्रणी संगठन है। सूचना प्रौद्योगिकी आधारित यात्री सुविधाएं जैसे राष्ट्रीय ट्रेन पूछताछ प्रणाली और यात्री आरक्षण प्रणाली आदि अत्यधिक प्रभावी, सहज और लाभकारी सिद्ध हो रही हैं। अब, भारतीय रेल अपने स्टेशनों पर वाई-फाई नेटवर्क कनेक्टिविटी/सुविधा के माध्यम से यात्रियों को इंटरनेट सुविधा प्रदान करने के क्रम में नित नए आयाम जोड़ रही है।

झांसी मंडल के 105 स्टेशनों को अब तक नि:शुल्क उच्च गति वाई-फाई इंटरनेट सुविधा उपलब्ध करा दी गई है। मंडल के लगभग 1284.023 रूट किमी ऑप्टिकल फाइबर केबल (ओएफसी) से जुड़ गए हैं। मंडल के लगभग लक्षित 99% रेलवे स्टेशनों पर यह सुविधा उपलब्ध कराने का कार्य पूरा कर लिया गया है। इन स्टेशनों पर वाई-फाई सुविधाओं के उपयोगकर्ताओं की संख्या में निरंतर वृद्धि हो रही है।

इस परियोजना को रेलवे स्टेशनों को डिजिटल इंक्लूजन के हब में बदलने का कार्य मिशन मोड में क्रियांवित किया जा रहा है। इस व्यवस्था को रेलवे पीएसयू “रेलटेल” द्वारा लागू किया जा है। रेलटेल रेलवायर के ब्रांड नाम से अत्याधुनिक सार्वजनिक वाई-फाई प्रदान कर रहा है। रेलटेल ने अब तक पूरे भारत में 6000 से अधिक स्टेशनों पर इस सुविधा को चालू कर दिया है।

झांसी मंडल समय-समय पर इस सुविधा को बढ़ावा देने के लिए जागरूकता अभियान चलाता रहा है। सोशल मीडिया पर वीडियो और संदेशों, नियमित घोषणाओं, स्टेशनों पर होर्डिंग और बैनर के माध्यम से, मंडल रेल उपयोगकर्ताओं और यात्रियों द्वारा वाई-फाई सुविधा के उपयोग को बढ़ावा दे रहा है।

यह दुनिया के सबसे बड़े और सबसे तेज सार्वजनिक वाई-फाई नेटवर्क में से एक है। भारतीय रेल द्वारा सभी रेलवे स्टेशनों (हॉल्ट को छोड़कर) में वाई-फाई प्रदान करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसमें से मंडल के मात्र केवल कुछ स्टेशनों पर लगाना शेष है, जहां काम प्रगति पर है।

रेलवे स्टेशन पर समाज के सभी वर्गों के लोगों का आगमन होता है। आधुनिकीकरण की तेज गति और स्मार्ट फोन के उपयोग में कई गुना वृद्धि ने “डिजिटल इंडिया” क्रांति को जन्म दिया है। 2015 के रेल बजट में परिकल्पित, स्टेशनों पर नि:शुल्क वाई-फाई इंटरनेट सुविधा प्रदान करने की योजना का उद्देश्य पूरे भारत में रेलवे स्टेशनों तक नि:शुल्क वाई-फाई की सुविधा प्रदान करना है। इसमें दूरदराज के गांवों में स्थित छोटे स्टेशन भी शामिल हैं।

रेलवे स्टेशनों पर आने वाले लोग इस सुविधा का उपयोग हाई डेफिनिशन (एचडी) वीडियो स्ट्रीमिंग, मूवी, गाने, गेम डाउनलोड करने और अपने कार्यालय का काम ऑनलाइन तरीके से करने के लिए कर सकते हैं।

इंटरनेट तक सीमित पहुंच वाले दूरस्थ स्थानों के छात्र, विशेष रूप से यूपीएससी, आरआरबी, आरआरसी और एसएससी उम्मीदवार अपनी तैयारी के लिए स्टेशन वाई-फाई सुविधाओं का उपयोग करते हैं। यात्री इस सुविधा का उपयोग अपने निजी उपकरणों पर मनोरंजन का लाभ उठाने के लिए भी कर रहे हैं। झांसी, ग्वालियर, उरई, महोबा, बांदा, मुरैना, ललितपुर, चित्रकूट, डबरा, दतिया इत्यादि स्टेशनों पर यात्रियों का अच्छा फीडबैक मिलने से यात्रियों के लिए यह उत्कृष्ट कनेक्टिविटी, निर्बाध डेटा एक्सेस और बेहतर सुविधा का परिचायक है।

रेलवायर वाई-फाई सुविधा बहुत उपयोगकर्ताओं के लिए अत्यधिक सुविधाजनक है। कनेक्शन चालू करने के लिए, यात्रियों को वाई-फाई विकल्पों को स्कैन करना होगा और रेलवायर चुनना होगा। एक बार जब ब्राउजजर उपयोगकर्ता को रेलवायर पोर्टल पर ले जाता है, तो वह एक मोबाइल नंबर मांगेगा, जिस पर एक वन टाइम पासवर्ड (ओटीपी) भेजा जाएगा। एक बार कनेक्ट होने के बाद, वाई-फाई कनेक्शन 30 मिनट तक चलेगा। इससे रेल यात्रियों को रेलवे की जानकारी से जुड़े रहने और अपडेट रहने में मदद मिलती है।

वाई-फाई हर दिन एक एमबीपीएस की गति से पहले 30 मिनट के उपयोग के लिए निःशुल्क है। वाई-फाई सुविधा को और अधिक तेज गति से उपयोग करने के लिए, उपयोगकर्ता को मामूली शुल्क देकर उच्च गति वाला प्लान चुनना होगा। इसमें विभिन्न दरें लागू हैं – जैसे ₹10/दिन (5 जीबी@34 एमबीपीएस के लिए) से ₹75/30 दिन (60 जीबी@34 एमबीपीएस के लिए) जीएसटी को छोड़कर। ऑनलाइन प्लान खरीदने के लिए नेट बैंकिंग, वॉलेट, क्रेडिट कार्ड जैसे कई भुगतान विकल्पों का उपयोग किया जा सकता है।

रेलवे और रेलटेल की इन पहलों ने रेलवे स्टेशनों पर आम रेलयात्री को डिजिटल प्रौद्योगिकी के लाभ प्राप्त करने का मार्ग प्रशस्त किया है। इसके माध्यम से वहां भी डिजिटल इंडिया का सपना साकार हो रहा है, जहां इसकी वास्तविक आवश्यकता है।