January 6, 2024

8 से 11 जनवरी तक रेलवे सहित सभी सरकारी कर्मचारी करेंगे क्रमिक भूख हड़ताल

नई दिल्ली: पुरानी पेंशन योजना बहाली संयुक्त मंच (#JFROPS) की 15 दिसंबर 2023 को बुलाई गई स्टीरिंग कमेटी की बैठक एवं ऑल इंडिया रेलवे मेन्स फेडरेशन की 2 जनवरी 2024 को हुई स्टैन्डिंग कमेटी की बैठक में लिए गए निर्णय के अनुसार 8 जनवरी से 11 जनवरी 2024 के बीच चार दिन तक रेलवे सहित सभी सरकारी कर्मचारी पुरानी पेंशन (#ओपीएस) बहाली की मांग को लेकर जन्तर मन्तर, नई दिल्ली के साथ-साथ अपने प्रशासनिक कार्यालयों, उत्पादन इकाईयों तथा अन्य यूनिटों के सामने सुबह 9.00 बजे से सायं 5.00 बजे तक क्रमिक अनशन/भूख हड़ताल पर बैठने का निर्णय लिया गया है। इसमें रक्षा, शिक्षक एवं अन्य सरकारी संस्थाओं के कर्मचारी भी शामिल हैं।

#जेएफआरओपीएस के संयोजक एवं #एआईआरएफ के महामंत्री शिव गोपाल मिश्रा ने बताया कि पुरानी पेंशन योजना की बहाली उन सभी केन्द्र एवं प्रदेशों के सरकारी कर्मचारियों एवं रेल कर्मचारियों का प्रमुख मुददा है, जो 01.01.2004 के बाद से सरकारी सेवा में आए हैं और पिछले वर्ष से सभी सरकारी कर्मचारी एवं रेल कर्मचारी जिनमें रक्षा, शिक्षक तथा सरकारी उत्पादन इकाईयां आदि भी शामिल हैं, पुरानी पेंशन की बहाली को प्रदेश स्तर से लेकर केन्द्र स्तर तक जोरदार आंदोलन और प्रदर्शन करते आ रहे हैं, जिसमें 10 अगस्त 2023 की रामलीला मैदान, दिल्ली की ऐतिहासिक रैली भी शामिल है।

श्री मिश्रा ने कहा कि सरकार ने सरकारी कर्मचारियों के इतने आंदोलनों के बाद भी अभी तक इस दिशा मे कोई विशेष ध्यान नहीं दिया, जिसके उपरान्त आम हड़ताल की नोटिस देने से पहले सरकार को चेताने के लिए एक मौका और दिया जा रहा है। इसके अन्तर्गत सभी सरकारी कर्मचारी, रक्षा, शिक्षक एवं रेल कर्मचारी नई दिल्ली में जन्तर मन्तर के अलावा अपने-अपने मुख्यालयों, कारखानों एवं अन्य यूनिटों पर 8 से 11 जनवरी 2024 तक इस कंपकंपाती ठंड में भूख हडताल पर बैठेंगे और सरकार से अपनी पुरानी पेंशन योजना की बहाली की मांग करेंगे।

उन्होंने कहा कि कर्मचारियों में सरकार की हठधर्मिता के खिलाफ अब काफी रोश व्याप्त हो गया है और वे पुरानी पेंशन की बहाली की मांग को लेकर काफी उग्र होते जा रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि यह कर्मचारियों ने सरकार को अब एक आखरी मौका देने का निर्णय लिया है, इसके बाद सीधे आम हडताल का नोटिस सरकार को दिया जाएगा, जिसकी सारी जिम्मेदारी सरकार की होगी।